Mirage 2000 मिराज-2000 भारतीय वायुसेना का एक महत्वपूर्ण फाइटर जेट है. पाकिस्तान के साथ हुए करगिल युद्ध में मिराज-2000 ने दुश्मन के छक्के छुड़ा भारतीय सेना की करगिल युद्ध की जीत में अहम भूमिका निभाई थी. समय -समय पर अपनी ताकत का अहसास करवाने वाले इस फाइटर विमान ने पुलवामा हमले का जबाब देने में अपनी ताकत का अहसास दुश्मन देश को एक बार फिर करवा दिया है.
आज पूरे भारत को भारतीय वायुसेना के बड़े में शामिल मिराज-2000 पर गर्व है. आइये जानते है मिराज-2000 की वो खूबियां जिसकी वजह से हम सब को इस विमान पर नाज है.
डसॉल्ट मिराज 2000 विमान की लंबाई 47 फीट है. इसका खाली वजन 7500 किलो होता है. मिराज 2000 फाइटर का स्पीड 2336 किमी प्रतिघंटा है. मिराज 2000, 125 राउंड गोलियां प्रति मिनट दागता है और 68 मिमी तक के 18 रॉकेट प्रति मिनट दागने में सक्षम है.
ये है डसॉल्ट मिराज 2000 की खूबियां
Mirage 2000 करीब 1400 किलोमीटर से ज्यादा दूरी तक दुश्मन के ठिकानों को निशाना बना सकता है.यह फाइटर जेट किसी भी तरह के मौसम में उड़ान भर दुश्मन को धूल चटा सकता है. कुछ समय पहले यमुना एक्सप्रेस वे पर इसे उतारा गया था.
डसॉल्ट मिराज 2000 हवा से सतह पर मिसाइल और हथियार से हमला करने के साथ-साथ लेजर गाइडेड बम दागने में भी सक्षम है.मिराज 2000 हवा से जमीन और हवा से हवा में भी मार करने में माहिर है.
मिराज 2000′ एक सीटर वाला फाइटर जेट है और इसे डसॉल्ट मिराज एविएशन ने तैयार किया है. इस फाइटर जेट की खूबी है कि यह जमीन पर भारी बमबारी करने के साथ-साथ हवा में भी मार करने में सक्षम है. मिराज 2000 को आपतकाल की स्थिति में किसी हाईवे पर भी उतारा जा सकता है.
डसॉल्ट मिराज 2000 कब हुआ था भारत शामिल
फ्रांस में बना डसॉल्ट मिराज 2000 ने पहली उड़ान फ्रांसिसी लड़ाकू विमान “डसॉल्ट मिराज 2000” ने अपनी पहली उड़ान 10 मार्च, 1978 को सफलता पूर्वक भरी थी. हवा में मार करने में सक्षम ये लड़ाकू विमान भारतीय वायुसेना की नंबर-7 स्क्वाड्रन में औपचारिक रूप से जून, 29,1985 के दिन शामिल किया गया था. आज यह लड़ाकू विमान भारतीय वायुसेना के अलावा फ्रांसिसी एयरफोर्स,युनाइटेड अरब अमीरात और चीनी रिपब्लिक वायुसेना के बेड़े में शामिल है.
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